मुजफ्फरनगर देहात के एसपी आदित्य बंसल ने बताया कि रतनपुरी के रहने वाले अश्विनी कुमार से नौकरी दिलाने के नाम पर झांसे से डॉक्यूमेंट्स ले लिए गए. इन डॉक्यूमेंट्स के आधार पर एक फर्जी अकाउंट और एक फर्जी कंपनी खोल दिया गया. जिससे जीएसटी का ईवे बिलिंग (E Way Billing) का फ्रॉड किया गया है।मामले में जीएसटी विभाग के अधिकारियों से बात की गई है। विभाग से समन्वय करके जांच की जाएगी और जांच के बाद कार्रवाई की जाएगी. वहीं, मामले में अभी अश्विनी कुमार का बयान नहीं आया है और न ही परिजनों की तरफ से अभी जानकारी साझा की गई है।
GST Department सूत्रों से मिली जानकारी में यह भी दावा किया जा रहा है कि यह बिलिंग किसी नेता की है। हालांकि, पूरे मामले का खुलासा जांच के बाद ही होगा। इधर यह खबर युवक के गांव में भी चर्चाओं का विषय बन गई है। क्योंकि सब की जुबान पर यही सवाल है कि डेरी संचालक के बेटे के खाते में इतनी रकम कैसे आ गई है।